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रीवा पहुंचे मोदी ने क्या कहा, जानिए क्या रहा खास,क्या मिली सौगात.....

रीवा(ईन्यूज एमपी)-प्रधानमंत्री आज रीवा में राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस पर आयोजित पंचायती राज सम्मेलन में शामिल हुए। वे यहां 31 मिनट बोले। मोदी ने यहां से 2300 करोड़ के रेल प्रोजेक्ट्स और 7853 करोड़ रुपए की 5 नल-जल योजनाओं का शिलान्यास और लोकार्पण किया। तीन ट्रेनों को वर्चुअली हरी झंडी दिखाई।

उन्होंने कहा, मैं कई बार सोचता हूं कि छिंदवाड़ा के जिन लोगों पर आपने लंबे समय तक भरोसा किया, वे आपके विकास को लेकर, इस क्षेत्र के विकास को लेकर इतने उदासीन क्यों रहे। इसका जवाब कुछ राजनीतिक दलों की सोच में है। आजादी के बाद जिस दल ने सबसे ज्यादा सरकार चलाई, उसने ही गांवों का भरोसा तोड़ दिया। कांग्रेस शासन के दौरान गांवों को निचले पायदान पर रखा गया। गांवों के साथ इस तरह का सौतेला व्यवहार कर देश आगे नहीं बढ़ सकता।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रीवा - इतवारी ट्रेन, छिंदवाड़ा - नैनपुर ट्रेन और नैनपुर - छिंदवाड़ा ट्रेन को वर्चुअली हरी झंडी दिखाई।

मोदी ने कहा कि

1). पिछली सरकारें गांवों पर पैसा खर्च करने से बचती थीं

पहले की सरकारों ने गांवों के साथ बड़ा अन्याय किया। गांवों पर पैसा खर्च करने से बचती थीं। गांव अपने आप में कोई वोट बैंक तो था ही नहीं, इसीलिए उन्हें नजरअंदाज किया जाता था। हमारी सरकार ने गांवों के विकास के लिए तिजोरी खोल दी। 2014 के बाद से देश ने पंचायतों के सशक्तिकरण का बीड़ा उठाया। 2014 से पहले पंचायतों के लिए वित्त आयोग का अनुदान 70 हजार करोड़ से भी कम था। 2014 के बाद यह अनुदान 70 हजार से बढ़कर 2 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा हो गया। 2014 से पहले के 10 साल में केंद्र सरकार की मदद से 6 हजार के आसपास पंचायत भवन बनवाए गए थे। हमारी सरकार ने 8 साल के अंदर 30 हजार से ज्यादा नए भवन बनवा दिए हैं।

2). पहले गांवों तक पहुंचने वाला पैसा बीच में लुट जाता था

हमारे गांव के लोगों का पहले देश के बैंकों पर अधिकार नहीं माना जाता था। भुला दिया गया था। लोगों के पास न बैंक खाते होते थे, न सुविधा मिलती थी। सरकार जो पैसा गांव के लोगों के लिए भेजती थी, वो भी बीच में ही लुट जाता था। हमारी सरकार ने इसे भी पूरी तरह बदल दिया। हमने जन-धन योजना चलाई। गांव के 40 करोड़ से ज्यादा लोगों के बैंक खाते खुलवाए। पोस्ट ऑफिस का उपयोग कर गांवों तक बैंक की पहुंच बनाई। आज इसका प्रभाव देश के हर गांव में नजर आ रहा है। सीधा पैसा लोगों के खाते में जा रहा है।

3). आजादी के बाद सरकारों ने पंचायती राज व्यवस्था को ध्वस्त किया

पहले की सरकार ने ग्राम पंचायतों तक ऑप्टिकल फाइबर पहुंचाने की योजना शुरू की थी, लेकिन देश की 70 से भी कम ग्राम पंचायतों को ऑप्टिकल फाइबर से जोड़ा गया। वो भी शहर के बाहर नजदीकी पंचायतों में...। आजादी के बाद की सरकारों ने भारत के पंचायती राज व्यवस्था को ध्वस्त किया। आजादी के बाद इस व्यवस्था पर भरोसा नहीं किया। यह हमारी सरकार है, जो देश की 2 लाख से ज्यादा पंचायतों तक ऑप्टिकल फाइबर को ले गई है। फर्क साफ है।

4). इस रविवार 'मन की बात' की सेंचुरी है

इस रविवार 'मन की बात' 100 एपिसोड पूरा कर रहा है। आप सभी के योगदान की वजह से ही 'मन की बात' आज इस मुकाम तक पहुंचा है। मध्यप्रदेश के अनेक लोगों की उपलब्धियों का जिक्र मैंने 'मन की बात' से किया है। इस रविवार फिर मिलने के लिए इंतजार कर रहा हूं, क्योंकि सेंचुरी है। हमारे यहां इसका महत्व ज्यादा ही होता है। आप जरूर जुड़िएगा।


5). भाजपा ने देश की करोड़ों दीदी को लखपति दीदी बनाया

हमारे यहां ट्रेडिशन था- घर, दुकान, गाड़ी, खेत पुरुष के नाम पर, महिलाओं के नाम पर कुछ होता ही नहीं था। हमने यह रिवाज बदला। भाजपा की सरकार ने महिलाओं को घर की मालकिन बनाया। आज के समय में PM आवास का हर घर लाख रुपए से ज्यादा का होता है। भाजपा ने देश में करोड़ों दीदी को लखपति दीदी बनाया है। हमारी सरकार की योजनाएं गांव में महिला सशक्तिकरण कर रही हैं। पिछले 9 साल में 9 करोड़ महिलाएं स्वयं सहायता समूह से जुड़ीं। सभी दीदियों को प्रणाम करता हूं। आशीर्वाद दीजिए कि देश में और दीदी भी लखपति बनें, इसके लिए हम काम करते रहें।

6). डबल इंजन की सरकार ने खुशियां डबल कर दीं

छिंदवाड़ा - नैनपुर - मंडला फोर्ट रेल लाइन के बिजलीकरण से इस क्षेत्र के लोगों की दिल्ली, हावड़ा, मुंबई तक कनेक्टिविटी और आसान हो जाएगी। इसका बड़ा लाभ आदिवासी भाई- बहनों को होगा। छिंदवाड़ा - नैनपुर के लिए नई ट्रेनें शुरू होने से कई कस्बे और गांव अपने जिला मुख्यालय छिंदवाड़ा और सिवनी से सीधे जुड़ जाएंगे। नागपुर और जबलपुर जाना आसान हो जाएगा। रीवा - इतवारी ट्रेन चलने से सिवनी और छिंदवाड़ा सीधे नागपुर से जुड़ जाएंगे। रेल कनेक्टिविटी यहां पर्यटन और रोजगार बढ़ाएगी। इसका बढ़ा लाभ यहां के किसान, स्टूडेंट्स, छोटे कारोबारियों, दुकानदार को होगा। डबल इंजन की सरकार ने खुशियां डबल कर दीं।

7). पहले प्रॉपर्टी के कागजों पर उलझनें थीं, अब नहीं होंगी

एकीकृत ई-ग्राम स्वराज और जीईएम पोर्टल से पंचायतों के माध्यम से होने वाली खरीद प्रक्रिया सरल और पारदर्शी होगी। पंचायतों को कम कीमत में सामान मिलेगा। स्थानीय छोटे उद्योगों को भी अपना सामान बेचने का माध्यम बनेगा। पंचायतों के सभी सामान इस पोर्टल पर आसानी से मिलेगा। पीएम स्वामित्व योजना पर कहा- प्रॉपर्टी के कागजों को लेकर बहुत उलझनें रहीं। झगड़े-अवैध कब्जे होते थे। पीएम स्वामित्व योजना से सारी स्थितियां बदल रही हैं। गांव में ड्रोन से सर्वे हो रहा है। मैप बन रहे हैं। इस आधार पर बिना किसी भेदभाव के कानूनी दस्तावेज लोगों के हाथ में सौंपे जा रहे हैं। अभी तक देश भर में 75 हजार गांवों में प्रॉपर्टी कार्ड देने का काम पूरा हो चुका है। मध्यप्रदेश सरकार इसमें बहुत बेहतर काम कर रही है।

प्रधानमंत्री ने रीवा में स्वामित्व योजना के अंतर्गत सिंगरौली जिले के गढ़हरा निवासी सीता और सूरज लाल साकेत को स्वामित्व अधिकार कार्ड प्रदान किया।
प्रधानमंत्री ने रीवा में स्वामित्व योजना के अंतर्गत सिंगरौली जिले के गढ़हरा निवासी सीता और सूरज लाल साकेत को स्वामित्व अधिकार कार्ड प्रदान किया।
8). हमें हमारी धरती मां को मारने का हक नहीं

खेती के लिए भी जागरूकता अभियान चलाने की जरूरत है। प्राकृतिक खेती पर काम चल रहा है। केमिकल खेती के नुकसान पर चर्चा हुई है। हमने देखा कि कैसे हमारे बेटियों ने धरती मां की तकलीफ के बारे में नाट्य मंचन में बताया। धरती की यह पुकार हमें समझनी होगी। हमें हमारी मां को मारने का हक नहीं है। धरती हमारी मां है। मेरा आग्रह है कि हमारी पंचायतें प्राकृतिक खेती को लेकर जनजागरण अभियान चलाएं। बता दें, सम्मेलन के मंच पर छात्राओं ने पर्यावरण काे लेकर परफॉर्मेंस दी। मोदी मंच से उठे और 11 मिनट खड़े होकर इस परफॉर्मेंस को देखा।

9). नौ करोड़ से ज्यादा परिवार को नल से पानी मिल रहा

गांव के लोगों के लिए सरकार ने हर घर जल योजना शुरू की। इस योजना से देश के 9 करोड़ से अधिक ग्रामीण परिवारों को घर में नल से पानी मिलने लगा। मध्यप्रदेश में पहले गांवों में रहने वाले 13 लाख परिवार तक नल - जल से पानी पहुंचता था, आज MP के गांवों में करीब 60 लाख घरों तक पानी पहुंचने लगा है। एक जिले में तो शत-प्रतिशत है। केंद्र सरकार मुद्रा योजना भी चला रही है। इस योजना के तहत पिछले वर्षों में लोगों को 24 लाख करोड़ रुपए की मदद की गई है। इससे लोगों ने अपना रोजगार शुरू किया है।

10). हमारा लक्ष्य एक- जन सेवा से राष्ट्र सेवा

हम सभी इस देश के लिए, इस लोकतंत्र के लिए समर्पित हैं। काम के दायरे भले अलग हों, लेकिन लक्ष्य एक है- जन सेवा से राष्ट्र सेवा। मुझे खुशी है कि गांव, गरीब का जीवन आसान बनाने के लिए, जो भी योजना केंद्र सरकार ने बनाई, उन्हें हमारी पंचायत ने पूरी निष्ठा से जमीन पर उतारा है। हम पंचायतों की मदद से गांवों और शहरों के बीच की खाई को लगातार कम कर रहे हैं। डिजिटल क्रांति के दौर में पंचायतों को भी स्मार्ट बनाया जा रहा है। आजादी के इस अमृत काल में हम सभी देशवासियों ने विकसित भारत का सपना देखा है। इसे पूरा करने के लिए दिन-रात मेहनत कर रहे हैं।

प्रधानमंत्री आवास योजना के 4 लाख 11 हजार लाभार्थियों को वर्चुअली गृह प्रवेश कराया। आजादी का अमृत महोत्सव समावेशी अभियान का रिमोट के जरिए शुभारंभ किया।
एकीकृत ई-ग्राम स्वराज और जीईएम पोर्टल और ऐप की शुरुआत की। इस ऐप पर 9 अलग-अलग सरकारी अभियानों की प्रोग्रेस देख सकेंगे। राय और अनुभव भी साझा कर सकेंगे।
वर्चुअली रीवा-इतवारी ट्रेन, छिंदवाड़ा-नैनपुर ट्रेन और नैनपुर-छिंदवाड़ा ट्रेन को हरी झंडी दिखाई। ग्वालियर रेलवे स्टेशन के रीडेवलपमेंट का वर्चुअल भूमिपूजन किया।
बीना-कोटा रेल ट्रैक का दोहरीकरण, छिंदवाड़ा-नैनपुर-मंडला फोर्ट रेल लाइन का गेज परिवर्तन और इलेक्ट्रिफिकेशन, बिरला नगर- उदी मोड फोर्ट रेल लाइन और महोबा - खजुराहो - उदयपुरा रेल लाइन के इलेक्ट्रिफिकेशन का लोकार्पण भी वर्चुअली किया। मध्यप्रदेश में रेल नेटवर्क अब 100% इलेक्ट्रिक हो गया है। ये रेल प्रोजेक्ट्स 2300 करोड़ से ज्यादा की लागत के हैं।
35 लाख लोगों को स्वामित्व प्रॉपर्टी कार्ड प्रदान किए।


मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा, पीएम जल जीवन मिशन की सौगात देने आए हैं। टोटी खोलोगे तो घर-घर पानी आएगा। प्रधानमंत्री के नेतृत्व में देश आगे बढ़ रहा है। बाणसागर बांध का कांग्रेस के राज्य में केवल शिलान्यास हुआ, पूरा कभी नहीं बना। अब हर जगह इससे सिंचाई हो रही है। कांग्रेस के राज्य में गड्‌ढों में सड़कें हुआ करती थीं। आज गांव - गांव में फोर व्हीलर हैं। मध्यप्रदेश के किसानों की आय दोगुनी हुई है। जब पुरानी सरकार 15 महीने के लिए आ गई थी, पीएम ने घर भेजे, उस सरकार ने घर बनाए ही नहीं। पीएम ने जल जीवन मिशन के पैसे भेजे, इसे भी कांग्रेस सरकार ने लौटा दिए थे। प्रधानमंत्री हमारे दिल में बसते हैं। हमारे मन में बसते हैं और वे हमसे मन की बात करते हैं। 30 अप्रैल को 'मन की बात' का 100वां संस्करण यानी पीएम 100वीं बार मन की बात करेंगे।

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