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प्रतिरूपण द्वारा छल करने वाले आरोपी का जमानत आवेदन......

सतना (ईन्यूज़ एमपी)माननीय न्यायालय प्रथम न्यायिक मजिस्ट्रेट श्री पार्थशंकर मिश्रा द्वारा थाना सिटी कोतवाली के अप0क्र0 522/2020 अंतर्गत धारा 177, 419, 420 भादवि0 में आरोपी गिन्नी उर्फ अतीक खान उर्फ समीर उर्फ सिकन्दर पिता निजामुददीन खान निवासी कम्पनी बाग सतना का धारा 437 दं.प्र.सं. का जमानत आवेदन निरस्त किया गया । शासन की ओर से मामले की ओर से पैरवी एडीपीओं. संदीप कुमार सतना द्वारा किया गया । आरोपी आदतन अपराधी है आरेापी के विरूद्ध कई मुकदमें पंजीबद्ध है । अपराध की गंभीरता को देखते हुए जमानत आवेदन निरस्त किया गया । सहायक मीडिया प्रवक्ता श्री हरिकृष्ण त्रिपाठी ने जानकारी देते हुए बताया कि आरोपी गिन्नी उर्फ अतीक खान उर्फ समीर उर्फ सिकन्दर को थाना कोलगवॉ के अपराध क्र0 1104/2020 अंतर्गत धारा 376 भादवि0 एवं 5/6 पाक्सो एक्ट में गिरफतार किया गया था आरोपी के कब्जे से पासपोर्ट , शस्त्र लायसेंस जप्त किया गया था । आरोपी के विरूद्ध 2002 में थाना सिटी कोतवाली में धारा 307/34 भादवि0 में अपना नाम सिकन्दर खान पिता निजामुददीन खान बताया था । अपराध क्र0 123/2008 धारा 324 में आरोपी ने अपना नाम समीर उर्फ सिकन्दर खान पिता निजामुददीन खान बताया था । अपराध क्र0 598/2008 धारा 294,323,506 भादवि0 में आरोपी ने अपना नाम गिन्नी उर्फ अतीक खान उर्फ समीर उर्फ सिकन्दर खान बताया था । आरोपी के कब्जे से बरामद दस्तावेज , आधारकार्ड , पहचान पत्र ,ड्रायविंग लायसेंस, पेनकार्ड में उसका नाम मोह0 अतीक मंसूरी पिता निजामुददीन मंसूरी निवासी कम्पनी बाग सतना के नाम से बनवाया है। जो कि उसका असली नाम है । आरोपी के पास से एक दूसरा पेनकार्ड बरामद हुआ है जिसमें उसका नाम समीर खान पिता निजामुददीन लिखा है। आरोपी के द्वारा मोह0 अतीक मंसूरी पिता निजामुददीन मंसूरी के नाम से 2018 में शस्त्र लायसेंस के लिए आवेदन किया था । जिसके सत्यापन के दौरान सही नाम से कोई अपराध का पंजीबद्ध होना नही पाया गया था क्यो कि आरोपी के द्वारा उपरोक्त सभी अपराधों में अपना फर्जी नाम बतलाया था । जिसके कारण आरोपी का आपराधिक रिकार्ड संज्ञान में ना आने के कारण थाना प्रभारी द्वारा शस्त्र लायसेंस की अनुसंशा की गई थी । इसी तरह आरोपी ने पासपोर्ट प्राप्त किया था । इस तरह आरोपी द्वारा अपराधिक कृत्यो में अपना सही नाम ना बताकर लोक सेवको को गुमराह कर शस्त्र लायसेंस तथा पासपोर्ट दस्ता‍वेज बनवाए थें । जिसके आधार पर आरोपी के विरूद्ध थाना सिटी कोतवाली में प्रकरण पंजीबद्ध किया गया ।

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